समाज की उन्नति के लिए हिन्दी की उन्नति जरूरी : प्रो पालीवाल

समाज की उन्नति के लिए हिन्दी की उन्नति जरूरी : प्रो पालीवाल



हिन्दू महाविद्यालय में हिन्दी सप्ताह का उद्घाटन


दिल्ली। औपनिवेशिक दौर में हिंदी सत्ता के प्रतिरोध की भाषा थी और इसी तेवर ने हिंदी को राष्ट्रभाषा का मान दिलाया। आज यदि मीडिया और राजनीति ने हमारी भाषाओं का अवमूल्यन किया है तो इससे हिंदी का वास्तविक महत्त्व कम नहीं हो जाता। हमें हिंदी का महत्त्व बढाने के लिए इसे ज्ञान और विज्ञान की भाषा बनाना होगा। उक्त विचार  सुप्रसिद्ध लेखिका व आलोचक प्रो.रीता रानी पालीवाल ने हिंदी: अतीत और भविष्य विषय पर व्यक्त किए। प्रो पालीवाल ने हिन्दू महाविद्यालय में हिन्दी सप्ताह के उद्घाटन समारोह में कहा कि यह हिंदी के लिए चिंता का विषय है कि शासक वर्ग अपनी भाषा में काम करता है और जनता उस भाषा को समझ नहीं पाती। 


उन्होंने भारत जैसे बहुभाषी देश में अनुवाद की अत्यधिक जरूरत पर बल देते हुए कहा कि अनेक भाषाओं को जानने वाले लोग भी हिंदी में पुस्तकों के अनुवाद में रुचि नहीं दिखाते। प्रो पालीवाल ने भारतेंदु हरिश्चंद्र के बलिया भाषण की याद दिलाते हुए भारतीय समाज की उन्नति के लिए हिंदी की उन्नति को जरूरी बताया। 




इससे पहले प्रो पालीवाल और हिन्दू महाविद्यालय की प्राचार्या प्रो अंजू श्रीवास्तव ने शोध केंद्र परिसर में हिंदी पुस्तक प्रदर्शनी का उद्घाटन भी किया। प्रो श्रीवास्तव ने उद्घाटन करते हुए कहा कि हिन्दी साहित्य के इतिहास में हिन्दू महाविद्यालय के हिन्दी शिक्षकों दशरथ ओझा, भरत सिंह उपाध्याय और कृष्णदत्त पालीवाल का योगदान अविस्मरणीय है। प्रो श्रीवास्तव ने नयी पीढ़ी का आह्वान किया कि वे भाषा और संस्कृति का गहराई से अवगाहन करें।  


उद्घाटन समारोह में हिन्दी विभाग के वरिष्ठ आचार्य डॉ.रामेश्वर राय ने कहा कि भाषा संवाद और विचार का माध्यम होती है । उन्होंने भाषा और सत्ता के जटिल संबंध की व्याख्या करते हुए बताया कि एक भाषा जनता की होती है तो एक सत्ता की।  दैनिक जीवन में लिखित भाषा के पहले प्रस्तोता समाचार पत्रों की हिंदी को चिंताजनक बताते हुए डॉ राय ने कहा अखबारों में हिंदी भाषा की छवि को धूमिल किया जा रहा है जिसका प्रमाण है कि आज समाचार मात्र विज्ञापन के माध्यम बन कर गए हैं। 


इससे पहले हिन्दी सप्ताह के संयोजक डॉ. पल्लव ने अतिथियों का स्वागत किया एवं आगामी गतिविधियों की जानकारी दी। हिंदी विभाग की संकाय सदस्य डॉ नीलम सिंह व डॉ साक्षी यादव ने प्रो. रीता रानी पालीवाल का शाल भेंट कर स्वागत किया गया। आयोजन में डॉ अभय रंजन, डॉ अरविंद सम्बल और डॉ प्रज्ञा त्रिवेदी शुक्ला सहित बड़ी संख्या में विद्यार्थी उपस्थित थे।


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